Bitcoin पर आय

"बिटकॉइन, एथेरियम, या एनएफटी कभी भी कानूनी निविदा नहीं बनेंगे। क्रिप्टो संपत्ति ऐसी संपत्ति है जिसका मूल्य दो लोगों के बीच निर्धारित किया जाएगा। आप सोना, हीरा, क्रिप्टो खरीद सकते हैं, लेकिन उसके पास सरकार द्वारा मूल्य प्राधिकरण नहीं होगा।"
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Legal Tender नहीं होगा 'बिटकॉइन, एथेरियम और एनएफटी: वित्त मंत्रालय
Bitcoin: वित्त सचिव टीवी सोमनाथन ने कहा कि जब लोग क्रिप्टोकरेंसी खरीद सकते हैं, तो संपत्ति का सरकार द्वारा मूल्य प्राधिकरण नहीं होगा।
Bitcoin: वित्त मंत्रालय ने बुधवार को घोषणा की है कि भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) द्वारा जारी डिजिटल मुद्रा के अलावा अन्य डिजिटल संपत्ति 'कभी भी कानूनी निविदा नहीं बनेगी'। एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए वित्त सचिव टीवी सोमनाथन ने कहा कि जब लोग क्रिप्टोकरेंसी खरीद सकते हैं, तो संपत्ति का सरकार द्वारा मूल्य प्राधिकरण नहीं होगा। बिटकॉइन, एथेरियम या एनएफटी कभी भी कानूनी निविदा (Legal Tender) नहीं बनेंगे।
वित्त सचिव ने कहा, "डिजिटल मुद्रा आरबीआई द्वारा समर्थित होगी जो कभी भी डिफॉल्ट नहीं होगी। पैसा आरबीआई का होगा, लेकिन प्रकृति डिजिटल होगी। आरबीआई द्वारा जारी डिजिटल रुपया एक कानूनी निविदा होगा। बाकी सभी कानूनी निविदा नहीं हैं, नहीं करेंगे। कभी भी कानूनी निविदा न बनेंगे।"
"बिटकॉइन, एथेरियम, या एनएफटी कभी भी कानूनी निविदा नहीं बनेंगे। क्रिप्टो संपत्ति ऐसी संपत्ति है जिसका मूल्य दो लोगों के बीच निर्धारित किया जाएगा। आप सोना, हीरा, क्रिप्टो खरीद सकते हैं, लेकिन उसके पास सरकार द्वारा मूल्य प्राधिकरण नहीं होगा।"
डिजिटल रुपया और क्रिप्टो कराधान पर निर्मला सीतारमण
भारतीय अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के लिए भारतीय रिजर्व बैंक वित्तीय वर्ष 2022-23 में ब्लॉकचेन और अन्य तकनीकों का उपयोग करके एक डिजिटल रुपया जारी करेगा। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा, "2022-23 से आरबीआई द्वारा डिजिटल रुपया ब्लॉकचेन और अन्य तकनीकों का उपयोग करके जारी किया जाएगा। इससे अर्थव्यवस्था को बड़ा बढ़ावा मिलेगा।"
वित्त मंत्री ने यह भी घोषणा की कि किसी भी आभासी डिजिटल संपत्ति के हस्तांतरण से होने वाली आय पर 30% कर (tax) लगेगा। उसने कहा, "अधिग्रहण की लागत को छोड़कर ऐसी आय की गणना करते समय किसी भी व्यय या भत्ते के Bitcoin पर आय संबंध में कोई कटौती की अनुमति नहीं दी जाएगी।"
सीतारमण ने कहा कि आभासी डिजिटल संपत्ति के हस्तांतरण से होने वाले नुकसान को किसी अन्य आय के खिलाफ सेट नहीं किया जा सकता है। वर्चुअल डिजिटल संपत्ति के हस्तांतरण के संबंध में किए गए भुगतान पर 1% टीडीएस लगाने की भी घोषणा की गई।
इस बीच, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को कहा कि केंद्रीय बजट में प्रस्तावित डिजिटल रुपया, फिनटेक क्षेत्र में 'नए अवसर' खोलेगा। 'आत्मनिर्भर अर्थव्यवस्थ' संगोष्ठी को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा, "सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी (सीबीडीसी) डिजिटल अर्थव्यवस्था को मजबूत करेगी. अगर कोई डिजिटल मुद्रा में भुगतान करता है, तो आप इसे नकद में बदल सकेंगे।"
क्रिप्टो पर टैक्स कैसे वसूलेगी सरकार? आपको क्या अब पूरे क्रिप्टो निवेश पर देना होगा कर? जानिए हर सवाल का जवाब
क्रिप्टोकरेंसी समेत डिजिटल ऐसेट पर अब भारत में 30 प्रतिशत का कर लगाने की घोषणा वित्त मंत्री निर्मला सीतरमण ने अपने बजट भाषणा में की है। क्रिप्टो पर टैक्स की घोषणा का क्या है मतलब और ये कैसे लगाया जाएगा, जानें हर सवाल का जवाब-
क्रिप्टो पर भारत में लगेगा टैक्स (फाइल फोटो)
Highlights बजट में सभी क्रिप्टो ऐसेट से होने वाली आय पर 30 प्रतिशत टैक्स की हुई है घोषणा। गिफ्ट में क्रिप्टोकरेंसी लेने पर भी टैक्स देना होगा, डिजिटल संपत्ति के लेन-देन पर एक प्रतिशत टीडीएस भी देना होगा।
नई दिल्ली: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने इस बार बजट में एक बड़ी घोषणा करते हुए कहा कि भारत में अब डिजिटल ऐसेट (इसमें क्रिप्टोकरेंसी भी शामिल) पर भी टैक्स लगेगा। क्रिप्टोबाजार में दिलचस्पी दिखाने वाले लोगों ने इस कदम का स्वागत किया क्योंकि यह देश में लोकप्रिय क्रिप्टोकरेंसी जैसे बिटकॉइन, एथेरियम और अन्य को एक तरह से कानूनी दर्जा देता है।
हालांकि, इसके बाद वित्त मंत्री ने जब कहा कि सभी क्रिप्टोकरेंसी से होने वाली आय पर 30 प्रतिशत तक का भारी कर लगेगा, तो ये कई लोगों को निराश कर गया। दरअसल यह म्युचुअल फंड या यहां तक कि शेयरों से होने वाली आय पर आप जितना भुगतान करते हैं, उससे भी कहीं अधिक है।
यह नहीं, बजट भाषण के बाद सरकार की ओर से ये भी साफ किया गया कि क्रिप्टो पर नुकसान होता है तो अन्य ऐसेट के जरिए भरपाई की कोई व्यवस्था नहीं है। वित्त मंत्री ने डिजिटल संपत्ति के लेन-देन पर एक प्रतिशत टीडीएस लगाने का भी प्रस्ताव किया।
सीतारमण ने लोकसभा में वित्त वर्ष 2022-23 का बजट पेश करते हुए कहा कि क्रिप्टो और डिजिटल संपत्तियों में उपहार पर कर लगेगा। संसद में बजट पारित होने के बाद कर प्रस्ताव एक अप्रैल से अमल में आएगा। निर्मला सीतारमण की ओर से क्रिप्टो पर लगाए गए टैक्स को लेकर घोषणाओं के बाद अब भी कई सवाल इसका इस्तेमाल कर रहे लोगों के मन में घूम रहे हैं। आइए आज हम आपको इसके बारे में विस्तार से जानकारी देने की कोशिश करते हैं-
क्रिप्टोकरेंसी पर कर कैसे लगेगा, ये कैसे काम करेगा?
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने स्पष्ट किया है कि क्रिप्टोकरेंसी से होने वाली आय पर 30 प्रतिशत कर लगाया जाएगा। उदाहरण के लिए यदि आप अपने बिटकॉइन बेचकर 100 रुपये कमाते हैं, तो आपको सरकार को क्रिप्टो टैक्स के रूप में 30 रुपये का भुगतान करना होगा।
इंडिया टुडे के अनुसार सेबी के पंजीकृत वित्तीय सलाहकार जितेंद्र सोलंकी का मानना है कि क्रिप्टोकरेंसी पर 30 प्रतिशत कर लगाकर सरकार क्रिप्टो निवेश को संभवत: हतोत्साहित करना चाहती है।
क्या मुझे अपने पूरे क्रिप्टो निवेश पर टैक्स का भुगतान करना होगा?
नहीं। आपको केवल अपनी आय या क्रिप्टोकरेंसी से लाभ पर ही कर का भुगतान करना होगा। उदाहरण के लिए यदि आपने 5,000 रुपये की क्रिप्टोकरेंसी खरीदी है और 5,500 रुपये में बेचते हैं तो केवल 500 रुपये पर 30 प्रतिशत कर लगेगा, न कि पूरे निवेश पर ये लागू होगा।
लॉन्ग टर्म लॉस के खिलाफ सेट ऑफ का क्या मतलब है?
मौजूदा आयकर कानून करदाताओं को लंबी अवधि के पूंजीगत लाभ में अपने दीर्घकालिक नुकसान को समायोजित करने की अनुमति देते हैं। दूसरे शब्दों में यह करदाताओं को उनके दीर्घकालिक लाभ पर कर का भुगतान करने से छूट देता है। हालांकि, क्रिप्टो आय के मामले में ऐसा संभव नहीं होगा।
अगर मैंने किसी को बिटकॉइन गिफ्ट किया है, तो क्या मुझे टैक्स देना होगा?
नहीं, वित्त मंत्री ने साफ किया है कि केवल क्रिप्टोकरेंसी प्राप्त करने वाले व्यक्ति पर कर लगाया जाएगा। इसलिए अगर आप अपने दोस्त को 1 बिटकॉइन गिफ्ट कर रहे हैं तो उसे उस ट्रांजैक्शन पर टैक्स देना होगा।
कौन से लेनदेन पर 1 प्रतिशत टीडीएस लगेगा?
अपने बजट भाषण के तुरंत बाद वित्त मंत्री ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में पत्रकारों से बात करते हुए स्पष्ट किया कि होने वाले सभी क्रिप्टो लेनदेन पर 1 प्रतिशत कर कटौती होगी।
क्या टैक्स का मतलब है कि क्रिप्टो करेंसी को सरकार ने मान्यता दे दी?
नहीं, भारत में अभी भी कोई क्रिप्टो को लेकर कोई कानून नहीं है। टैक्स लगाने का मतलब है कि यह क्रिप्टो लेनदेन को वैधता देता है और सरकार ऐसे में सभी लेनदेन की निगरानी कर सकती है। आसान शब्दों में, यह भारत में क्रिप्टोकरेंसी को वैध बनाता है।
क्या बिटकॉइन अब एक मुद्रा है?
नहीं। वित्त मंत्री ने यह भी स्पष्ट किया है कि केवल भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा जारी डिजिटल मुद्रा को मुद्रा के रूप में मान्यता दी जाएगी। बिटकॉइन और अन्य क्रिप्टोकरेंसी को केवल डिजिटल संपत्ति के रूप में वर्गीकृत किया गया है। इसका मतलब है कि जब आप उनमें निवेश कर सकते हैं, तो उनका उपयोग चीजों को खरीदने के लिए नहीं किया जा सकता है।
Cryptocurrency Bill: देश में जल्द आएगा क्रिप्टोकरेंसी बिल, क्रिप्टो ट्रेंडिंग पर टैक्स लगाने पर भी किया जा रहा विचार
नई दिल्ली। भारत में क्रिप्टोकरेंसी को अभी तक कानूनी मान्यता नहीं दी गई Bitcoin पर आय है। लेकिन देशवासियों में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर काफी क्रेज है। जिस वजह से क्रिप्टोकरेंसी काफी ट्रेडिंग पर चल रही है। जिसे देखते हुए जल्द ही इस बात भी फैसला किया जा सकता है कि देश में क्रिप्टोकरेंसी ट्रेडिंग को टैक्स के दायरे में लाया जाए या नहीं। भारत के वित्त मंत्रालय की ओर से इस बारे में पता लगाने के लिए एक नई समिति का गठन किया गया है कि क्या क्रिप्टो-ट्रेडिंग से होने वाली आय पर टैक्स लगाया जा सकता है।
गौरतलब है कि देश एक ऑफिशिअल क्रिप्टोकरेंसी बिल की घोषणा की प्रतीक्षा में है। यह बिल संसद के आने वाले विंटर सेशन में पेश किए जाने की बात कही जा रही है। फिलहाल भारत में क्रिप्टोकरेंसी में व्यापार में काफी तेजी देखी जा रही है, देश के पास करेंसी को रेगुलेट करने के लिए कोई ठोस कानून नहीं है। सूत्रों की मानें तो वित्त मंत्रालय कि ओर से बनाए गए इस नए पैनल को चार सप्ताह का समय दिया गया है।
यह समय अवधि खत्म होने के बाद पैनल को यह बताना होगा कि क्या क्रिप्टोकरेंसी में ट्रेडिंग से होने वाली आय पर कैपिटल प्रोफिट के रूप में टैक्स लगाया जाए या उन्हें एक नई बनाई गई टैक्स कैटेगरी के तहत क्लासिफाई करने की आवश्यकता है। बता दें कि बनाई गई इस नई कमिटी क्रिप्टोकरेंसी ट्रेडिंग-आधारित आय पर टैक्सेशन एनालिसिस को कथित तौर पर Cryptocurrency Bill के अंतिम ड्राफ्ट में शामिल किया जाएगा। यानी Cryptocurrency Bill में भारत में क्रिप्टोकरेंसी ट्रेड की इनकम पर टैक्स लगाया जाएगा या नहीं, इस बारे में भी एक ड्राफ्ट में विस्तार से जानकारी दी जाएगी।